Updated on: 13 May, 2025 09:39 PM IST | Mumbai
Hindi Mid-day Online Correspondent
यह बयान अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा जम्मू-कश्मीर मुद्दे पर मध्यस्थता की नई पेशकश की पृष्ठभूमि में आया है.
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने भारतीय सशस्त्र बलों की सराहना की और कहा कि उनकी ताकत ने पाकिस्तान को हमला बंद करने पर मजबूर कर दिया। फोटो/वीडियोग्रैब
विदेश मंत्रालय (एमईए) ने मंगलवार को कहा कि कश्मीर मुद्दे को भारत और पाकिस्तान द्विपक्षीय रूप से सुलझाएंगे और इस रुख में कोई बदलाव नहीं आया है. एक न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार यह बयान अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा जम्मू-कश्मीर मुद्दे पर मध्यस्थता की नई पेशकश की पृष्ठभूमि में आया है.
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रिपोर्ट के मुताबिक विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने ट्रंप की पेशकश पर एक सवाल का जवाब देते हुए कहा, "हमारा लंबे समय से राष्ट्रीय रुख रहा है कि भारतीय केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर से संबंधित किसी भी मुद्दे को भारत और पाकिस्तान को द्विपक्षीय रूप से सुलझाना होगा." उन्होंने कहा, "नीति में कोई बदलाव नहीं आया है. जैसा कि आप जानते हैं, लंबित मामला पाकिस्तान द्वारा अवैध रूप से कब्जाए गए भारतीय क्षेत्र को खाली करना है."
ट्रंप द्वारा परमाणु युद्ध की अटकलों पर जायसवाल ने कहा कि सैन्य कार्रवाई पूरी तरह से पारंपरिक क्षेत्र में थी. रिपोर्ट के अनुसार, रणधीर जायसवाल ने कहा, "कुछ रिपोर्ट थीं कि पाकिस्तान की राष्ट्रीय कमान प्राधिकरण 10 मई को बैठक करेगी. लेकिन बाद में उन्होंने इसका खंडन किया. पाकिस्तान के विदेश मंत्री ने खुद रिकॉर्ड पर परमाणु पहलू से इनकार किया है".
उन्होंने कहा, "जैसा कि आप जानते हैं, भारत का दृढ़ रुख है कि वह परमाणु ब्लैकमेल के आगे नहीं झुकेगा या इसका हवाला देकर सीमा पार आतंकवाद को संचालित नहीं होने देगा." इस बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार सुबह पंजाब के आदमपुर एयरबेस का दौरा किया और वायुसेना कर्मियों से बातचीत की, जो पाकिस्तान के साथ हाल ही में हुए संघर्ष के दौरान कार्रवाई में शामिल रहे हैं. रिपोर्ट के मुताबिक उन्होंने एक्सटीवी पर कहा कि भारत अपने सशस्त्र बलों के प्रति हमेशा आभारी रहेगा, जिन्होंने हमारे देश के लिए जो कुछ भी किया है.
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