Updated on: 31 December, 2024 05:57 PM IST | Mumbai 
                                                    
                            Hindi Mid-day Online Correspondent                             
                                   
                    
उन्होंने कहा कि प्रौद्योगिकी की यह पीढ़ी समाज और संस्कृति में कई बड़े बदलाव लाएगी.
 
                प्रतीकात्मक छवि
आपने जेन ज़ेड और जेन अल्फा के बारे में सुना होगा, लेकिन अब एक नई पीढ़ी आ गई है जिसके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं. यहां हम बात कर रहे हैं 2025 से 2039 के बीच जन्मे बच्चों की जो जेनरेशन बीटा में आएंगे. उन्होंने कहा कि प्रौद्योगिकी की यह पीढ़ी समाज और संस्कृति में कई बड़े बदलाव लाएगी. समय-समय पर एक नई पीढ़ी दुनिया में आती रहती है. इन पीढ़ियों के बारे में बात करना आसान बनाने के लिए उन्हें अलग-अलग नाम दिए गए हैं. जैसा कि आपने जेनरेशन जेड (जेन जेड) या अल्फा जेनरेशन (जेन अल्फा) के बारे में सुना होगा, वैसे ही अब साल 2025 से पैदा होने वाली पीढ़ी को जेनरेशन बीटा कहा जाता है. सीधे शब्दों में कहें तो जनरेशन बीटा एक नई पीढ़ी है जो नए साल की शुरुआत से आ रही है.
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इस पीढ़ी का नाम बीटा है क्योंकि इसके पहले अल्फा नामक पीढ़ी आई थी. सामाजिक शोधकर्ता मैक्रिंडल के अनुसार, यह नामकरण का एक तरीका है जो हमें बताता है कि इतिहास में एक नए युग की शुरुआत हो रही है. अब तक आपने मिलेनियल्स और जेन जेड जैसे शब्द खूब सुने होंगे. ये शब्द विभिन्न पीढ़ियों के लोगों का प्रतिनिधित्व करते हैं. ऐसे में अब एक नई पीढ़ी आ रही है जिसे जेन बीटा कहा जाता है. ये वो लोग हैं जिनका जन्म 2025 से 2039 के बीच होगा. जनरल अल्फा (जन्म 2010-2024) जनरल बीटा से पहले और उससे पहले जेन जेड (जन्म 1997-2012).
यह नामकरण का एक तरीका है. जैसे-जैसे समय बदलता है, नई पीढ़ियाँ आती हैं और उन्हें अलग-अलग नाम दिए जाते हैं. जेन अल्फ़ा से शुरू करके, लोगों ने ग्रीक वर्णमाला के अक्षरों का उपयोग करके इन पीढ़ियों का नामकरण करना शुरू कर दिया. इसलिए जनरल अल्फा के बाद जनरल बीटा आया और भविष्य में भी इसी तरह के नाम दिए जाएंगे.
वर्ष 2025 में जन्में बच्चों को हम "बीटा किड्स" कहेंगे. ये बच्चे ऐसे समय में बड़े हो रहे हैं जब तकनीक हर जगह बड़ी भूमिका निभा रही है. जैसे पहले लोग किताबें पढ़ते थे, लेकिन अब बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक सब कुछ स्मार्टफोन पर करते हैं. यह अनुमान लगाया गया है कि जेनरेशन बीटा के बच्चे बड़े होंगे और एक ऐसी दुनिया में रहेंगे जहां कारें खुद चलती हैं, हमारे स्वास्थ्य की देखभाल के लिए उनके पास विशेष कपड़े होते हैं, और हमारे द्वारा बनाई गई दुनिया में घूमने में सक्षम होते हैं. कंप्यूटर इसका मतलब है कि ये बच्चे ऐसी दुनिया में रहेंगे जहां तकनीक हमारे जीवन का एक बड़ा हिस्सा होगी.
अपने ब्लॉग पोस्ट में मैक्रिंडल बताते हैं कि जेनरेशन अल्फा स्मार्टफोन, कंप्यूटर और रोबोट जैसे स्मार्ट उपकरणों के साथ बड़ी हो रही है, लेकिन साल 2025 में पैदा होने वाले बच्चों के लिए कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) और मशीनें हर जगह होंगी. जिस तरह आज हम मोबाइल फोन के बिना नहीं रह सकते, उसी तरह भविष्य में एआई और मशीनें हमारे जीवन का खास हिस्सा होंगी. जब हम पढ़ते हैं, काम करते हैं, खेलते हैं और यहां तक कि जब हम बीमार होते हैं तो यह नई तकनीक हमारी मदद करेगी.
जेन बीटा, यानी 2025 में पैदा हुए बच्चे, एक ऐसी दुनिया में बड़े होंगे जहां सब कुछ एक क्लिक की दूरी पर है. उनके पास स्मार्टफोन, कंप्यूटर और रोबोट जैसी हर तरह की तकनीक होगी, लेकिन साथ ही उन्हें कई बड़ी समस्याओं का भी सामना करना पड़ेगा. जैसे कि धरती का बढ़ता तापमान, बढ़ते शहर और दुनिया भर में लोगों की बढ़ती आबादी. इन समस्याओं से निपटने के लिए जनरल बीटा को बहुत स्मार्ट और मिलनसार होना होगा. उन्हें इन बदलावों को स्वीकार करना सीखना होगा और दूसरों की मदद करना भी सीखना होगा. यानी जेन बीटा में फीचर्स तो बहुत होंगे लेकिन चुनौतियों का भी सामना करना पड़ेगा. उन्हें इन चुनौतियों का सामना करने के लिए तैयार रहना होगा.
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