Updated on: 15 August, 2025 03:15 PM IST | Mumbai
Hindi Mid-day Online Correspondent
नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री के रूप में पहली बार 2014 में लाल किले से राष्ट्र को संबोधित किया था और अब वे 2014 से 2025 तक बिना किसी रुकावट के हर साल भाषण देते हैं.
लाल किले पर प्रधानमंत्री मोदी. तस्वीर/पीटीआई
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को 79वें स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले की प्राचीर से राष्ट्र को संबोधित किया. यह इस अवसर पर उनका लगातार 12वाँ भाषण था. ऐसा करके उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के 15 अगस्त को लगातार सबसे ज़्यादा भाषण देने के रिकॉर्ड को तोड़ दिया. एक न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री के रूप में पहली बार 2014 में लाल किले से राष्ट्र को संबोधित किया था और अब वे 2014 से 2025 तक बिना किसी रुकावट के हर साल भाषण देते हैं. इंदिरा गांधी ने अपने कार्यकाल के दौरान लगातार 11 बार स्वतंत्रता दिवस पर भाषण दिए थे, हालाँकि उन्होंने अपने पूरे कार्यकाल में कुल 16 भाषण दिए थे.
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रिपोर्ट के मुताबिक इस उपलब्धि के साथ, प्रधानमंत्री मोदी लगातार 12 बार स्वतंत्रता दिवस पर भाषण देने वाले दूसरे भारतीय प्रधानमंत्री बन गए हैं. पंडित जवाहरलाल नेहरू के नाम अब भी लगातार सबसे ज़्यादा 17 भाषण देने का रिकॉर्ड है. भगवा पगड़ी पहने, प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन की शुरुआत देश को 79वें स्वतंत्रता दिवस की बधाई देकर की. उन्होंने पिछले दशकों में भारत की प्रगति पर विचार किया और देश को आत्मनिर्भर बनाते हुए `विकसित भारत` के लिए अपनी सरकार के दृष्टिकोण को सामने रखा.
उन्होंने `आत्मनिर्भर भारत` पहल के तहत आत्मनिर्भरता के महत्व पर ज़ोर दिया और युवाओं, वैज्ञानिकों और सरकारी विभागों से स्वदेशी तकनीकों के विकास पर ध्यान केंद्रित करने का आग्रह किया. रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने इस विचार की सराहना की, जिसमें ऑपरेशन सिंदूर ऐसी ही आत्मनिर्भरता का एक उदाहरण है और `मेड इन इंडिया` की शक्ति का प्रदर्शन किया गया.
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में किसानों की सुरक्षा के प्रति अपने समर्थन की पुष्टि करते हुए कहा कि वह "किसानों के हितों के विरुद्ध नीतियों के खिलाफ दीवार की तरह मजबूती से खड़े हैं." रिपोर्ट के मुताबिक लाल किले की प्राचीर से की गई यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब अमेरिका भारत पर अपने कृषि बाजार को खोलने का दबाव बना रहा है और इसके बाद 25 प्रतिशत अतिरिक्त शुल्क लगा रहा है. पश्चिमी देश इसे रूसी तेल खरीदने पर `जुर्माना` बता रहा है.
उन्होंने यह भी घोषणा की कि सरकार वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) में एक बड़ा सुधार लाने के लिए तैयार है, जिससे उपभोक्ताओं और छोटे व्यवसायों को काफी राहत मिलेगी. उन्होंने दिवाली के आसपास जीएसटी में संशोधन लागू करने का आह्वान किया और इसे लोगों के लिए "दोहरी दिवाली का तोहफा" बताया. अपने स्वतंत्रता दिवस भाषण में, प्रधानमंत्री मोदी ने 1 लाख करोड़ रुपये के परिव्यय वाली प्रधानमंत्री विकासशील भारत रोजगार योजना (पीएम-वीबीआरवाई) का भी अनावरण किया. इस योजना का उद्देश्य युवाओं को 3.5 करोड़ रोजगार के अवसर प्रदान करना और पहली नौकरी मिलने पर उन्हें 15,000 रुपये प्रदान करना है.
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