तस्वीरों में साफ देखा जा सकता है कि कैसे भारी जलभराव ने पुल को डुबो दिया है और लोग पानी में पैदल ही रास्ता तय करने को मजबूर हो गए हैं. (Pics / Ashish Raje)
दोपहिया और चारपहिया वाहन भी पानी में आधे डूबे हुए नजर आए.
स्थानीय लोगों का कहना है कि पिछले कई सालों से यहां बारिश के दौरान जलभराव की समस्या गंभीर बनी हुई है, लेकिन इस बार हालात और ज्यादा खराब दिख रहे हैं.
मुंबई में परेल एक महत्वपूर्ण व्यावसायिक इलाका है, जहां रोज़ाना लाखों लोग आते-जाते हैं.
ऐसे में एलफिंस्टन ब्रिज पर पानी भरने से आवागमन पर गहरा असर पड़ा है. कई ऑफिस जाने वाले कर्मचारी घंटों ट्रैफिक जाम में फंसे रहे, वहीं लोकल ट्रेन सेवाओं पर भी दबाव बढ़ा.
बीएमसी की ओर से दावा किया गया है कि जलनिकासी के लिए टीमें लगातार काम कर रही हैं. पंपिंग स्टेशनों को फुल क्षमता पर चलाया जा रहा है ताकि पानी की निकासी जल्द से जल्द हो सके. हालांकि, लगातार बारिश ने राहत के प्रयासों को मुश्किल बना दिया है.
शहर के अन्य हिस्सों जैसे दादर, सायन, चेंबूर और अंधेरी से भी जलभराव की खबरें सामने आई हैं.
प्रशासन ने नागरिकों से अपील की है कि जब तक बहुत जरूरी न हो, तब तक बाहर निकलने से बचें और सुरक्षित जगहों पर ही रहें.
प्रशासन ने नागरिकों से अपील की है कि जब तक बहुत जरूरी न हो, तब तक बाहर निकलने से बचें और सुरक्षित जगहों पर ही रहें.मुंबईकरों के लिए यह नजारा किसी परेशानी से कम नहीं है. एलफिंस्टन ब्रिज पर खड़े पानी ने एक बार फिर नगर निगम की तैयारियों पर सवाल खड़े कर दिए हैं.
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