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गुजरात एटीएस ने अल-कायदा के मॉड्यूल का किया भंडाफोड़

Updated on: 23 July, 2025 09:38 PM IST | Mumbai
Hindi Mid-day Online Correspondent | hmddigital@mid-day.com

गुजरात एटीएस का कहना है कि इन आतंकवादियों को कुछ संवेदनशील जगहों को निशाना बनाने के निर्देश दिए गए थे.

गिरफ्तार आतंकवादी (फोटो साभार: एजेंसी)

गिरफ्तार आतंकवादी (फोटो साभार: एजेंसी)

गुजरात एटीएस (आतंकवाद निरोधी दस्ता) ने एक बड़ी आतंकी साजिश का भंडाफोड़ किया है और भारतीय उपमहाद्वीप में अल-कायदा से जुड़े एक मॉड्यूल का भंडाफोड़ किया है. इस ऑपरेशन में कुल चार संदिग्ध आतंकवादियों को गिरफ्तार किया गया है. गुजरात एटीएस का कहना है कि इन आतंकवादियों को कुछ विशिष्ट और संवेदनशील जगहों को निशाना बनाने के निर्देश दिए गए थे. 

एटीएस के डीआईजी सुनील जोशी ने बताया कि मामले की गहन जाँच की जा रही है और इस पूरे ऑपरेशन की विस्तृत जानकारी देने के लिए जल्द ही एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की जाएगी. गुजरात एटीएस अधिकारियों के अनुसार, गिरफ्तार किए गए चार आतंकवादियों में से दो गुजरात से, एक दिल्ली से और एक नोएडा (उत्तर प्रदेश) से गिरफ्तार किया गया है. ये सभी आतंकवादी अल-कायदा के एक्यूआईएस से जुड़े बताए जा रहे हैं. गिरफ्तार आतंकवादियों की पहचान सैफुल्लाह कुरैशी, मोहम्मद फरदीन, मोहम्मद फैक और जीशान अली के रूप में हुई है.


गिरफ्तार किए गए चार आतंकवादियों के बारे में चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है. एटीएस के अनुसार, सभी आरोपियों की उम्र 20 से 25 वर्ष के बीच है और वे भारत में बड़े पैमाने पर आतंकवादी हमले करने की योजना बना रहे थे. एटीएस के डीआईजी सुनील जोशी ने बताया कि मामले की अभी गहन जाँच की जा रही है और जल्द ही एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर इस पूरे ऑपरेशन की विस्तृत जानकारी दी जाएगी. गुजरात एटीएस का कहना है कि इन आतंकियों को कुछ खास और संवेदनशील जगहों को निशाना बनाने के निर्देश दिए गए थे. ये चारों आतंकी सोशल मीडिया ऐप्स के ज़रिए एक-दूसरे से जुड़े हुए थे और जाँच में यह भी पता चला है कि ये सीमा पार बैठे आतंकियों के संपर्क में थे.


इस गिरफ्तारी को सुरक्षा एजेंसियों की एक बड़ी कामयाबी माना जा रहा है, क्योंकि समय रहते एक बड़ी आतंकी साजिश को नाकाम कर दिया गया. गुजरात एटीएस और केंद्रीय एजेंसियाँ अब इनके नेटवर्क, फंडिंग, ट्रेनिंग और विदेशी संपर्कों को जोड़ने में जुटी हैं. आने वाले दिनों में इस मामले में और खुलासे और गिरफ्तारियाँ होने की संभावना है. गिरफ्तार किए गए चारों आतंकी सोशल मीडिया ऐप्स के ज़रिए एक-दूसरे से जुड़े हुए थे और जाँच में यह भी पता चला है कि ये सीमा पार बैठे आतंकियों के संपर्क में थे.


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