Updated on: 25 August, 2024 08:06 PM IST | Mumbai
Hindi Mid-day Online Correspondent
कोलकाता के अस्पताल में 31 वर्षीय प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ हुए बलात्कार और बदलापुर में दो बच्चों के यौन शोषण के बाद उनका यह बयान आया है.
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी/एएफपी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महिलाओं के खिलाफ अत्याचार की कड़ी निंदा की है और इसे अक्षम्य बुराई बताया है. उन्होंने तर्क दिया कि ऐसे कृत्यों के लिए जिम्मेदार लोगों को बख्शा नहीं जाना चाहिए. एक न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार कोलकाता के आरजी कर अस्पताल में 31 वर्षीय प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ हुए भयानक बलात्कार और मौत के साथ-साथ मुंबई के पास बदलापुर में दो बच्चों के यौन शोषण को लेकर हुए प्रदर्शनों के बाद उनका यह बयान आया है. उत्तरी महाराष्ट्र के जलगांव में `लखपति दीदी सम्मेलन` में बोलते हुए मोदी ने इस बात पर जोर दिया कि महिलाओं की सुरक्षा देश की प्राथमिकता होनी चाहिए.
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT
रिपोर्ट के मुताबिक जलगांव रैली में पीएम मोदी ने कहा, "माताओं, बहनों और बेटियों की सुरक्षा देश की प्राथमिकता है. मैंने लाल किले से बार-बार इस मुद्दे को उठाया है. मैं अपनी बहनों और बेटियों के दर्द और गुस्से को समझता हूं, चाहे वे किसी भी राज्य से हों." प्रधानमंत्री ने सभी राजनीतिक दलों और राज्य सरकारों से महिलाओं के खिलाफ अत्याचारों को घृणित रूप से देखने का आग्रह किया. मोदी ने आगे कहा, "ऐसे अपराध करने वालों की मदद करने वालों को बख्शा नहीं जाना चाहिए. अस्पताल, स्कूल, सरकारी कार्यालय या पुलिस स्टेशन में किसी भी तरह की लापरवाही के लिए जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए. संदेश ऊपर से नीचे तक स्पष्ट होना चाहिए: यह पाप अक्षम्य है. सरकारें आती-जाती रहती हैं, लेकिन महिलाओं के जीवन और सम्मान की रक्षा करना एक जिम्मेदारी है जिसे हम सभी समाज और सरकार दोनों के रूप में निभाते हैं."
जलगांव रैली में सरकार की उपलब्धियों पर प्रकाश डालते हुए पीएम मोदी ने कहा कि उनके प्रशासन ने पिछले 10 वर्षों में महिलाओं के लिए स्वतंत्रता के बाद किसी भी अन्य सरकार की तुलना में अधिक काम किया है. उन्होंने `सखी मंडल` कार्यक्रम के माध्यम से महिला स्वयं सहायता संगठनों को प्रदान की गई भारी वित्तीय सहायता पर जोर दिया, जिसमें पिछले दशक में 9 लाख करोड़ रुपये का ऋण दिया गया, जबकि 2014 से पहले यह 25,000 करोड़ रुपये से भी कम था. रिपोर्ट के अनुसार जलगांव की अपनी यात्रा के दौरान, मोदी ने लखपति दीदी पहल में काम करने वाली महिलाओं से मुलाकात की और 2,500 करोड़ रुपये के एक परिक्रामी कोष की घोषणा की, जो 4.3 लाख स्वयं सहायता समूहों के 48 लाख सदस्यों की सहायता करेगा. उन्होंने कहा कि इस पहल का उद्देश्य न केवल महिलाओं की आय बढ़ाना है, बल्कि भावी पीढ़ियों को सशक्त बनाना भी है, रिपोर्ट में कहा गया है.
मोदी ने दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की भारत की अपेक्षित प्रगति का भी उल्लेख किया, जिसमें महिलाओं को इस सफलता में आवश्यक योगदानकर्ता बताया गया. रिपोर्ट के मुताबिक उन्होंने अन्य सरकारी उपायों का हवाला दिया, जिसमें आवास परियोजना के तहत अधिकांश नए आवास महिलाओं को आवंटित करना, साथ ही मुद्रा योजना की सफलता शामिल है, जिसका लाभ 70 प्रतिशत महिलाओं को मिलता है. प्रधानमंत्री ने तीन करोड़ महिलाओं को लखपति दीदी बनाने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई, पिछले एक दशक में एक करोड़ से अधिक महिलाओं ने यह मुकाम हासिल किया है. केवल दो महीनों में 11 लाख नई महिलाएं इस सूची में शामिल हुई हैं, जिनमें से एक लाख अकेले महाराष्ट्र से हैं. मोदी ने महाराष्ट्र में भाजपा के नेतृत्व वाली महायुति सरकार की आवश्यकता पर भी जोर दिया, ताकि राज्य की स्थिरता और समृद्धि बनी रहे.
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT