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प्रधानमंत्री मोदी ने सेना को दी दुश्मन पर निशाना साधने की पूरी स्वतंत्रता

Updated on: 29 April, 2025 09:52 PM IST | Mumbai
Hindi Mid-day Online Correspondent | hmddigital@mid-day.com

सरकारी सूत्रों ने बताया कि उच्च स्तरीय बैठक के दौरान, जिसमें रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और तीनों सेनाओं के प्रमुख शामिल हुए.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी. तस्वीर/पीटीआई

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी. तस्वीर/पीटीआई

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को शीर्ष रक्षा प्रतिष्ठान के साथ बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि पहलगाम आतंकी हमले पर भारत की प्रतिक्रिया के तरीके, लक्ष्य और समय पर निर्णय लेने के लिए सशस्त्र बलों को "पूर्ण परिचालन स्वतंत्रता" है. एक न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार सरकारी सूत्रों ने बताया कि उच्च स्तरीय बैठक के दौरान, जिसमें रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और तीनों सेनाओं के प्रमुख शामिल हुए, प्रधानमंत्री मोदी ने पुष्टि की कि आतंकवाद को करारा झटका देना राष्ट्रीय संकल्प है. प्रधानमंत्री मोदी ने सशस्त्र बलों की पेशेवर क्षमताओं में पूर्ण विश्वास और भरोसा जताया.

रिपोर्ट के मुताबिक एक सूत्र ने मोदी के हवाले से कहा, "उन्हें हमारी प्रतिक्रिया के तरीके, लक्ष्य और समय पर निर्णय लेने के लिए पूर्ण परिचालन स्वतंत्रता है." चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान भी बैठक का हिस्सा थे, जो पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत द्वारा जवाबी कार्रवाई के लिए अपने विकल्पों पर विचार करने के बीच आयोजित की गई थी, जिसमें कम से कम 26 नागरिक, जिनमें ज्यादातर पर्यटक थे, मारे गए थे.


मोदी ने हमले के पीछे के आतंकवादियों और उनके संरक्षकों का पीछा करने की कसम खाई है, जो स्पष्ट रूप से पाकिस्तान की ओर इशारा करता है, जिसका भारत में आतंकवादी हमलों को प्रायोजित करने का इतिहास रहा है, और उन्हें "पृथ्वी के छोर तक" तक खदेड़ने और "उनकी कल्पना से परे" कठोरतम सजा देने की कसम खाई है. रिपोर्ट के अनुसार आतंकवादियों ने ठीक एक सप्ताह पहले 22 अप्रैल को कश्मीर के पहलगाम के लोकप्रिय स्थल में देश के विभिन्न हिस्सों से आए पर्यटकों की गोली मारकर हत्या कर दी थी. 


इस क्षेत्र में लंबे समय में नागरिकों पर हुए इस क्रूर हमले ने पूरे देश में आक्रोश की लहर पैदा कर दी है. प्रधानमंत्री के सख्त बयानों और उनकी सरकार के घोषित सख्त रुख ने भारत से कड़ी जवाबी कार्रवाई की उम्मीदें बढ़ा दी हैं. रिपोर्ट के मुताबिक इससे पहले, मोदी सरकार ने 2016 में उरी में सेना के जवानों पर हुए आतंकवादी हमले के बाद पाकिस्तान के अंदर सर्जिकल स्ट्राइक और पुलवामा में सीआरपीएफ कर्मियों की हत्या के बाद बालाकोट हवाई हमला किया था.


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