पहले बल्लेबाज़ी करते हुए भारत ने निर्धारित 50 ओवरों में 7 विकेट के नुकसान पर 298 रन बनाए. (Pics: ICC Cricket World Cup, Atul Kamble)
टीम की शुरुआत शानदार रही जब सलामी बल्लेबाज़ शैफाली वर्मा ने 78 गेंदों पर 87 रनों की धुआंधार पारी खेली, जिसमें सात चौके और दो छक्के शामिल थे.
उनके साथ दीप्ति शर्मा ने भी 58 गेंदों पर 58 रनों का महत्वपूर्ण योगदान दिया. ऋचा घोष ने तेज़ 24 गेंदों में 34 रन ठोककर स्कोर को मज़बूत किया.
दक्षिण अफ्रीका की ओर से अयाबोंगा खाका सबसे सफल गेंदबाज़ रहीं, जिन्होंने 9 ओवर में 58 रन देकर तीन विकेट चटकाए. नॉनकुलुलेको म्लाबा, नादिन डी क्लार्क और क्लो ट्रायोन को एक-एक सफलता मिली.
लक्ष्य का पीछा करने उतरी दक्षिण अफ्रीकी टीम को अच्छी शुरुआत नहीं मिल सकी. सलामी बल्लेबाज़ ताज़मिन ब्रिट्स 23 रन बनाकर जल्दी आउट हो गईं.
हालांकि कप्तान लॉरा वोल्वार्ड्ट ने डटकर मुकाबला किया और 98 गेंदों पर 101 रनों की शानदार शतकीय पारी खेली, लेकिन दूसरे छोर से उन्हें सहयोग नहीं मिला. टीम 45.3 ओवर में 246 रन पर ढेर हो गई.
भारत की ओर से दीप्ति शर्मा ने शानदार गेंदबाज़ी करते हुए 9.3 ओवर में 39 रन देकर पाँच विकेट झटके और दक्षिण अफ्रीका की रीढ़ तोड़ दी.
शैफाली वर्मा ने भी अपनी ऑफ-स्पिन से 2 विकेट लिए, जबकि नल्लापुरेड्डी चरानी को एक विकेट मिला.
दीप्ति शर्मा को उनके ऑलराउंड प्रदर्शन के लिए प्लेयर ऑफ द मैच और प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट घोषित किया गया.
स्टेडियम में मौजूद हजारों दर्शकों ने “भारत माता की जय” के नारों के बीच टीम इंडिया की इस ऐतिहासिक जीत का जश्न मनाया.
यह जीत भारतीय महिला क्रिकेट के लिए एक नए युग की शुरुआत मानी जा रही है, जिसने न केवल देश में महिला क्रिकेट के स्तर को ऊँचा किया है बल्कि विश्व मंच पर भारत की बादशाहत को भी साबित किया है.
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