Updated on: 24 September, 2024 09:24 AM IST | Mumbai
Ujwala Dharpawar
शिवसेना (UBT) नेता आदित्य ठाकरे ने इस मुठभेड़ की निंदा की है.
X/Pics, Aaditya Thackeray
Akshay Shinde Encounter: बदलापुर रेप केस के मुख्य आरोपी अक्षय शिंदे की सोमवार शाम को पुलिस मुठभेड़ में मौत हो गई. घटना मुंब्रा बाईपास पर हुई जब अक्षय ने पुलिस से रिवॉल्वर छीनकर फायरिंग कर दी, जिससे एक पुलिस अधिकारी घायल हो गया. इसके बाद, पुलिस द्वारा की गई आत्मरक्षा की फायरिंग में अक्षय शिंदे के सिर में गोली लगी और उसकी मौके पर ही मृत्यु हो गई. यह घटना राज्य में काफी चर्चा का विषय बन गई है.
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शिवसेना (UBT) नेता आदित्य ठाकरे ने इस मुठभेड़ की निंदा की है. उन्होंने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा कि अक्षय शिंदे ने जो भीषण और अमानवीय कृत्य किया, उसके लिए उसे कानूनी प्रक्रिया के तहत फांसी की सजा मिलनी चाहिए थी. उन्होंने इस मुठभेड़ को ‘घटिया और संदेहास्पद’ बताया और सवाल उठाया कि कहीं यह घटना किसी राजनीतिक स्वार्थ के लिए तो नहीं हुई. आदित्य ठाकरे ने कहा कि इस घटना का राजनीतिक लाभ उठाने वाले लोग सामने आ सकते हैं और कुछ लोग इस मामले का उपयोग अपनी छवि को सुधारने के लिए कर सकते हैं.
बदलापूरच्या नराधमाने जे अमानुष कृत्य केलं होतं, त्याबद्दल त्याला कायद्याच्या चौकटीत राहून फाशीच व्हायला हवी होती. पण आज संध्याकाळी जे घडलं ते हलगर्जीपणाचं आणि संशयास्पद आहे. ह्या घटनेचा वापर करुन स्वतःची पाठ थोपटून घेणारे, राजकीय स्वार्थ साधू पाहणारे महाभागही आता पुढे येण्याची…
— Aaditya Thackeray (@AUThackeray) September 23, 2024
ठाकरे ने यह भी सवाल उठाया कि इस मामले में उस स्कूल के संचालक का अभी तक पता क्यों नहीं चल पाया, जहां से यह घटना शुरू हुई थी. उन्होंने आरोप लगाया कि कोई इस मामले में दोषियों को बचाने की कोशिश कर रहा है. ठाकरे ने इस मुठभेड़ की निष्पक्ष जांच की मांग की और कहा कि अगर इस घटना और स्कूल संचालक की गिरफ्तारी में देरी के बीच कोई संबंध है, तो उसे उजागर करना जरूरी है.
इस मामले में पुलिस की कार्रवाई पर कई सवाल खड़े हो रहे हैं, खासकर इस मुठभेड़ की सत्यता और पारदर्शिता को लेकर. आदित्य ठाकरे का बयान इस ओर इशारा करता है कि इस पूरे प्रकरण की गहराई से जांच होनी चाहिए ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि न्याय सही ढंग से हो और किसी तरह का राजनीतिक हस्तक्षेप न हो. पुलिस और राज्य सरकार को इस मामले में निष्पक्षता बनाए रखनी होगी ताकि जनता का कानून व्यवस्था पर विश्वास बना रहे.
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