ऊंची लहरों के बाद समुद्र तट पर फैला कचरा, जो समुद्र की लहरों के साथ बहकर आया था, को साफ करने के लिए ये लोग पूरी मेहनत से जुटे हुए थे. (Pics: Satej Sharad Shinde)
यह प्रयास शहर की स्वच्छता के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, क्योंकि समुद्र तटों पर जमा होने वाला कचरा न केवल पर्यावरण के लिए हानिकारक होता है, बल्कि यह समुद्री जीवन को भी खतरे में डालता है.
अफरोज शाह फाउंडेशन द्वारा चलाए जा रहे इस अभियान का उद्देश्य समुद्र तटों को साफ रखना और पर्यावरण को प्रदूषण से बचाना है.
इसके तहत वर्सोवा समुद्र तट पर नियमित रूप से सफाई अभियान चलाए जाते हैं. शुक्रवार को इस अभियान में बीएमसी के कर्मचारियों के साथ-साथ फाउंडेशन के स्वयंसेवक भी शामिल हुए, जिन्होंने अपने श्रम से समुद्र तट को कचरे से मुक्त करने में मदद की.
इस दौरान स्वयंसेवकों ने हाथों में ग्लव्स और अन्य सफाई उपकरण लेकर समुद्र तट पर फैले प्लास्टिक, रैपर, बोतलें, और अन्य कचरे को इकट्ठा किया.
सफाई के बाद समुद्र तट पर साफ-सुथरी जगह दिखाई दी, जो पर्यटकों और स्थानीय निवासियों के लिए एक सकारात्मक संकेत है.
यह सफाई अभियान वर्सोवा के समुद्र तट के अन्य हिस्सों में भी नियमित रूप से आयोजित किया जाता है, ताकि पर्यावरण को संरक्षित किया जा सके और समुद्र तटों को फिर से स्वच्छ रखा जा सके.
अफरोज शाह फाउंडेशन के संस्थापक अफरोज शाह का कहना है कि समुद्र तटों पर कचरे की सफाई केवल स्वच्छता के लिए नहीं, बल्कि समुद्री जीवन की रक्षा के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है.
उन्होंने कहा, "हमारा उद्देश्य न केवल पर्यावरण को स्वच्छ बनाना है, बल्कि हम समुद्र में प्रदूषण को कम करने के लिए भी काम कर रहे हैं."
इस सफाई अभियान को स्थानीय समुदाय ने भी अच्छा समर्थन दिया और इसे देखकर अन्य लोगों को भी सफाई में हिस्सा लेने की प्रेरणा मिली.
इस तरह के सामूहिक प्रयासों से ही हम अपने शहर और समुद्र तटों को प्रदूषण से बचा सकते हैं और पर्यावरण को संरक्षित रख सकते हैं.
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